अमिताभ बच्चन जी की सम्पूर्ण जीवनी | Amitabh Bachchan Biography In Hindi

प्रस्तुत लेख में फिल्म जगत के महानायक, अमिताभ बच्चन, के जीवन को विस्तृत रूप से प्रकट करने का प्रयास करेंगे और उनके जीवन को समझने का प्रयास करेंगे। उन्होंने आरंभ से लेकर वर्तमान समय तक किस प्रकार संघर्ष किया, कितनी चुनौतियों का सामना किया, जो सामान्य मानव के लिए प्रेरणा का विषय है।

अमिताभ बच्चन जी का जीवन परिचय

हमारे बीच ऐसे बहुत कम व्यक्ति होते हैं जो अपनी बेहतरीन प्रतिभा और काम के प्रति उनके जूनून के कारण अपने काम के शीर्ष स्थान पर करोड़ों लोगों के दिलों पर राज करते हैं। ऐसे व्यक्ति सदी में बहुत कम होते हैं और काम से सभी को अपना दीवाना बना लेते हैं। इसीलिए इन्हें सदी के महानायक भी कहा जाता है।

जी हां, हम बात कर रहे हैं सदी के महानायक अमिताभ बच्चन की, जिन्हें फिल्म इंडस्ट्री का सबसे प्रभावशाली अभिनेता माना जाता है। उन्होंने अपने काम के लिए अपना पूरा जीवन व्यतीत किया और अपनी प्रतिभा के दम पर ही आज भी करोड़ों लोगों के दिलों पर राज करते हैं। वर्तमान में भी अमिताभ बच्चन जी फिल्म जगत से सक्रिय रूप से जुड़े हुए हैं।

हम इस लेख में अमिताभ बच्चन जी की जीवनी और उनकी सफलता की कहानी को विस्तार से देखेंगे और जानेंगे कि कैसे उन्होंने फिल्म जगत में इतने 4 दशकों तक लंबा और सफल करियर बनाया और आज भी सदी के महानायक के रूप में माने जाते हैं।

नामअमिताभ बच्चन
पिता का नामहरिवंश राय बच्चन (लेखक)
माता का नामतेजी बच्चन
शिक्षास्नातक
पुत्र /पुत्रीअभिषेक बच्चन , स्वेता बच्चन
पत्नीजया बच्चन
जन्म तिथि 11 अक्टूबर 1942 इलाहबाद  
धर्म हिन्दू 
राष्ट्रीयता भारतीय

अमिताभ बच्चन का बचपन

हमारे बीच, आज अमिताभ बच्चन जी के नाम से मशहूर, अमित जी का जन्म 11 अक्टूबर 1942 को उत्तर प्रदेश के प्रयागराज (इलाहाबाद) में हुआ था।

चुकी अमिताभ बच्चन के पिता का नाम हरिवंश राय बच्चन था, जो हिंदी जगत के एक सुप्रसिद्ध कवि भी थे, यह वजह हो सकती है कि अमित जी को भी बचपन से ही कला और अभिनय का शौक था। अमिताभ बच्चन जी की माँ का नाम तेजी बच्चन था, जो उस समय एक समाज सेविका के रूप में काम करती थी।

अमिताभ बच्चन का बचपन में नाम “इन्कलाब” रखा गया था, जो उस समय चल रहे स्वतंत्रता संग्राम में चल रहे नारे “इन्कलाब जिंदाबाद” की तर्ज पर रखा गया था।

लेकिन उनके पिता हरिवंश राय बच्चन जी के मित्र सुमित्रानंदन पन्त जी के कहने पर ही अमिताभ का नाम “इन्कलाब” से “अमिताभ बच्चन” रखा गया।

अमिताभ बच्चन की शिक्षा

अमिताभ बच्चन शुरुआत से ही पढ़ाई के क्षेत्र में काफी अच्छे थे। अमिताभ की शुरुआती पढ़ाई इलाहाबाद के सेंट मेरी स्कूल में हुई। उन्होंने अपनी आगे की पढ़ाई शेरवुड कॉलेज, नैनीताल से की थी, और इसके बाद उन्होंने अपनी आगे की शिक्षा दिल्ली विश्वविद्यालय के करोड़ीमल कॉलेज से अपनी स्नातक स्तर की पढ़ाई पूरी की थी।

अमिताभ ने पढ़ाई के दिनों से ही अग्रणी विद्यार्थी बनने का प्रयास किया और इनके पिताजी की संजीवनी शैली ने उन्हें बड़े होशियार बनाया। अमिताभ के पिता हिंदी जगत के मशहूर कवि थे, और यह वजह हो सकती है कि अमिताभ में शिक्षा के प्रति उनका गहन रुझान उनके पिताजी से आया हो।

अमिताभ बच्चन निजी जीवन

अमिताभ बच्चन जी के निजी जीवन के बारे में बात करें तो हमें यह जानने को मिलता है कि उनके फिल्मी जीवन के सफर में उनके अफेयर की खबरें उस समय की प्रसिद्ध अभिनेत्री रेखा से आई थीं। उस समय इस अफेयर ने खूब सुर्खियां बटोरीं और हलचल मचाई। लेकिन यह लोगों के लिए सिर्फ एक गॉसिप का मुद्दा बनकर ही रह गया था।

इसके बाद, अमिताभ बच्चन जी की शादी उन्हीं के समय में फिल्मी जगत की अभिनेत्री जया जी से हुई थी। अमिताभ और जया बच्चन जी के दो बच्चे हैं, जिनमें अभिषेक बच्चन उनके बेटे हैं और श्वेता बच्चन उनकी बेटी हैं।

अमिताभ बच्चन के जीवन का शुरूआती संघर्ष

जैसे ही अमिताभ जी ने अपनी पढ़ाई पूरी की, उसके बाद से ही उन्होंने दिल्ली में ही नौकरी खोजना शुरू किया, तबहों उन्होंने अपने एक दोस्त के सिजाव पर उन्होंने ऑल इंडिया रेडियो में वौइस नरेशन की नौकरी के लिए आवेदन किया था।

लेकिन यहां अमिताभ की आवाज़ को मोटा और भद्दा बताकर उनका इनकार कर दिया गया था। दिल्ली में निराशा मिलने की वजह से अमिताभ अपने कुछ दोस्तों के साथ कोलकाता आ गए और यहीं उन्होंने लगभग 5 साल बिताए और कुछ निजी कंपनियों में बहुत ही कम वेतन पर काम करना शुरू किया।

भले ही अमिताभ इन कामों से अपना जीवन व्यतीत कर रहे थे। लेकिन अपनी युवावस्था से ही उन्हें कला और अभिनय के क्षेत्र में गहरी रूचि थी, इसी लिए अमिताभ ने फिल्म जगत में काम करने का निश्चय किया।

1968 में अमिताभ मुंबई आए, चलिए आगे जानते हैं कि कैसे अमिताभ जी को फिल्म जगत में अपना पहला काम मिला और उनके जीवन का आगे का सफर कैसा रहा।

फिल्मी जगत में अमिताभ बच्चन की शुरूआती मुश्किलें

आपको याद होगा की ऑल इंडिया रेडियो में नौकरी लेने के लिए गए अमिताभ को उनकी आवाज को मोटा और भद्दा बताकर रिजेक्ट किया गया था। लेकिन फिल्मों में अमिताभ की शुरुआत एक वॉयस नेरेटर के रूप में ही हुई थी। यहां उन्होंने ‘भुवन शोम’ के लिए अपनी आवाज़ दी। राजीव गांधी से अमिताभ की दोस्ती होने के कारण से उन्हें फिल्मों में आने में अधिक मुश्किलों का सामना नहीं करना पड़ा।

अमिताभ को उनकी पहली फिल्म 1969 में “सात हिन्दुस्तानी” में काम करने का मौका मिला।

लेकिन अमिताभ जी की बदकिस्मत देखिए, यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कुछ भी कमाल नहीं कर सकी और बहुत बुरी तरह से फ्लॉप हो गई। शुरूआती फिल्म की असफलता के बाद भी अमिताभ ने हार नहीं मानी और अपने जुझारू रवैये से अपने प्रयासों को जारी रखा।

इसके बाद, अमिताभ के प्रयासों के चलते साल 1970 में उन्हें “बॉम्बे टॉकी” और साल 1971 में आई फिल्म “परवाना” में काम मिला। लेकिन यह दोनों फिल्में ही बुरी तरह से फ्लॉप साबित हुईं।

अमिताभ के लिए फिल्मी जगत का शुरुआती सफर बेहद मुश्किल भरा रहा और उनकी शुरुआती फिल्में बहुत बुरी तरह से फ्लॉप हो रही थीं। चलिए हम आगे जानते हैं की अमिताभ बच्चन को फिल्म जगत में अपनी पहली सफलता कब और कैसे मिली।

फिल्म जगत में सफलता

जिस तरह से अमिताभ बच्चन जी की शुरुआती फिल्में बहुत बुरी तरह से बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप साबित हो रही थीं, तब जाहिर सी बात है की किसी भी व्यक्ति को निराशा होगी, लेकिन अमिताभ ने अपने प्रयासों में कोई कमी नहीं आने दी। आगे चलकर उन्हें फिल्मी जगत के “काका” कहे जाने वाले सुपरस्टार “राजेश खन्ना” के साथ उनकी आनंद मूवी में सपोर्टिंग एक्टर के रूप में काम करने का मौका मिला।

तब जाकर अमिताभ जी ने अपनी दमदार अभिनय कला (एक्टिंग) से सभी का ध्यान अपनी तरफ आकर्षित किया और अपनी शुरूआती असफल फिल्मों के बाद उन्होंने आनंद फिल्म से अपनी दमदार एक्टिंग से खुद साबित किया। अमिताभ को इस फिल्म में बेहतरीन अभिनय के लिए “बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर के लिए फिल्मफेयर अवार्ड” भी मिला।

धीरे-धीरे ही सही, लेकिन अमिताभ अब लोगों के बीच अपनी जगह बनाने लगे थे।

लेकिन अभी भी अमिताभ को फिल्म जगत में असली सफलता लगातार 13 फ्लॉप फिल्मों के बाद साल 1973 में आई प्रकाश मेहरा की फिल्म “जंजीर” से मिली, जिसमें अमिताभ ने अपने करियर का पहला नेगेटिव रोल किया था। यह फिल्म उस समय की सबसे सफल फिल्मों में से एक थी, यही वह फिल्म थी जिसके बाद से लोग अमिताभ को ‘एंग्री यंग मैन’ के नाम से भी जानने लगे।

अमिताभ बच्चन ने कभी भी पीछे मुड़कर नहीं देखा। इसके बाद अमिताभ ने एक के बाद एक फिल्में जैसे “अदालत” और “अमर अकबर एंथनी” सुपरहिट फिल्में बनाईं।

चलिए जानते हैं कि इसके बाद कैसे एक घटना ने अमिताभ के फिल्मी करियर पर कुछ समय के लिए रोक लगा दी।

अमिताभ बच्चन को फ़िल्म में चोट लगना 

अमिताभ अपने फिल्मी करियर में एक से बढ़कर एक सफल फिल्में दे रहे थे, लेकिन फिल्म ‘कुली’ की शूटिंग के दौरान अमिताभ बच्चन को चोट लग गई थी।

दरअसल उन्हें उस फिल्म में पुनीत इस्सर के साथ एक एक्शन सीन को शूट करना था।

लेकिन जब पुनीत इस्सर ने एक्शन सीन की शुरुआत की, तब उन्हें अमिताभ को काल्पनिक रूप से उनके पेट पर मुक्का मारना था।

अमिताभ को पीछे रखी हुई मेज से टकराकर नीचे गिरना था।

लेकिन जैसे ही पुनीत इस्सर अमिताभ के पेट पर मारने के लिए आगे बढ़े, अमिताभ मेज की तरफ कूदे, उसी मेज का कोना उनके पेट में लगा और उनको काफी गहरी चोट आई।

इसी वजह से पुनीत इस्सर के द्वारा मारा गया काल्पनिक मुक्का सीधे अमिताभ बच्चन के पेट पर जा लगा, जिसके बाद अमिताभ को बहुत ही गंभीर चोट भी आई। इसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया, इस दुर्घटना के बाद अमिताभ की हालत काफी गंभीर हो गई थी। लेकिन उनके चाहने वालों की दुवाएं और डॉक्टरों की कोशिश से अमिताभ का इलाज सफल रहा। 1983 में आई उनकी यह फिल्म ‘कुली’ सुपरहिट साबित हुई और इस फिल्म को दर्शकों द्वारा खूब प्यार भी मिला।

यह फिल्म उस साल बॉक्स ऑफिस पर सबसे अधिक कमाई करने वाली फिल्म रही।

राजनीति का सफर

अमिताभ को फिल्म ‘कुली’ में लगी चोट के बाद लगने लगा कि वह अब कभी फिल्मों में काम नहीं कर पाएंगे, इसीलिए उन्होंने राजनीति में आने का फैसला किया और कुछ समय के लिए अमिताभ ने कांग्रेस पार्टी भी ज्वाइन की थी।

लेकिन उनकी रुचि तो फिल्मों में ही थी, यही कारण था कि उनके राजनीतिक दाव-पेंच समझ नहीं आए। इसके बाद से अमिताभ ने राजनीति छोड़ने और वापस से अपने फिल्म करियर को आगे बढ़ाने का फैसला किया।

फिल्मो में बेहतरीन वापसी

इसके बाद, साल 1988 में अमिताभ बच्चन ने “शहंशाह” फिल्म से फिल्म जगत में अपनी बेहतरीन वापसी की। यह फिल्म तो बहुत सफल रही, लेकिन इसके बाद की कुछ फिल्मों में अमिताभ बच्चन को सिर्फ निराशा ही हाथ लगी।

इसके बाद, शाहरुख़ ख़ान के साथ साल 2000 में आई “मोहब्बतें” फिल्म से अमिताभ बच्चन के डूबते फिल्मी करियर को कुछ सहारा मिला। इस फिल्म में अमिताभ बच्चन की एक्टिंग को दर्शकों द्वारा खूब प्यार मिला, इसके बाद बड़े परदे के महानायक कहे जाने वाले अमिताभ बच्चन से छोटे परदे में खुद को अजमाया।

उन्होंने “कौन बनेगा करोड़पति” से छोटे परदे पर अपने करियर की शुरुआत की और बड़े परदे के साथ-साथ छोटे परदे पर भी कमियाबी की नई ईबारत लिख दी। अमिताभ बच्चन द्वारा किया जाने वाला “कौन बनेगा करोड़पति” शो आज भी लोगों को खूब पसंद आता है, इस शो ने टीआरपी के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए।

अमिताभ बच्चन के पुरस्कार

सदी के महानायक और सबसे प्रभावशाली अभिनेता अमिताभ बच्चन जी को फिल्म जगत में उनके अमूल्य योगदान के बहुत से पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है।

पुरस्कार इस प्रकार हैं –

  • 4 बार नेशनल फ़िल्म अवार्ड
  • भारत सरकार द्वारा पद्मश्री और पद्मभूषण
  • बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर ‘Anand’ फ़िल्म के लिए 1971 में
  • बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर ‘Namak Haraam’फ़िल्म के लिए 1973 में
  • Best Actor ‘Amar Akbar Anthony’ फ़िल्म के लिए 1978 में
  • बेस्ट एक्टर ‘Don’ फ़िल्म के लिए साल 1979 में
  • बेस्ट एक्टर का अवार्ड ‘Hum’ फ़िल्म के लिए साल 1992 में
  • फिल्मफेयर लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड 1991 में ( यह सभी फिल्मफेयर अवार्ड्स है )

अमिताभ बच्चन को फिल्म जगत में उनके बेहतरीन योगदान के लिए सर्वोच्च राष्ट्रीय सम्मान “दादा साहब फाल्के अवार्ड” से भी सम्मानित किया गया है। अमिताभ बच्चन एक ऐसे फिल्म इंडस्ट्री के चमकते हुए सितारे हैं जो किसी भी पुरस्कार के माताज नहीं हैं।

आज अमिताभ बच्चन देश-विदेश के करोड़ों लोगों के दिलों पर राज करते हैं।

अमिताभ बच्चन की कुछ हिट फिल्मे

जिस तरह से अमिताभ बच्चन जी ने फिल्म जगत को बहुत सी सुपरहिट फिल्में दी हैं, उनकी जितनी सराहना की जाए उतना कम है।

उनकी कुछ प्रमुख फिल्में इस प्रकार हैं:

  • “मोहब्बतें”
  • “वजीर”
  • “डॉन”
  • “शोले”
  • “कभी खुशी कभी गम”
  • “बाघबान”
  • “अमर अकबर अंथोनी”
  • “अंगीपथ”
  • “सुहाग”
  • “सूर्यवंशम”
  • “नमक हलाल”
  • “अभिमान”
  • “पिकू”

इनमें से कुछ फिल्में अमिताभ बच्चन जी ने फिल्म इंडस्ट्री को दी हैं।

वे उन्होंने छोटे पर्दे पर भी कुछ हिट शो किए हैं जैसे “कौन बनेगा करोड़पति” इत्यादि।

सफलता से सीख

भले ही आज सदी के महानायक अमिताभ बच्चन जी की सफलता से हर कोई अच्छी तरह से वाकिफ है, लेकिन इस बड़ी सफलता के पीछे का बड़ा संघर्ष को बहुत कम लोग ही जानते हैं। शुरुआत में फिल्मों में आने से पूर्व अमिताभ बच्चन ने बहुत संघर्ष किया, लेकिन शुरुआती असफलताओं के बाद भी अमिताभ जी ने हार नहीं मानी और अपने जुझारू रवैये से काम किया।

उन्होंने फिल्म जगत के महानायक के रूप में अपनी जगह बनाई है। आज अमिताभ बच्चन बॉलीवुड के सबसे प्रभावशाली अभिनेता माने जाते हैं। हम फिल्म जगत में उनके अविस्मरणीय योगदान के लिए सदा उनके आभारी रहेंगे।

प्रिंस सिंह एक फ्रीलांसिंग लेखक है, जो एंटरटेनमेंट विषयों जैसे की शायरी, कोट्स, बायोग्राफी, विशेज, फैक्ट्स और मूवी रिव्यू के क्षेत्र में लेखन करते हैं।

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